दया की उम्मीद

दया की उम्मीद

दया की उम्मीद

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यह सृष्टि पर एक विशिष्ट प्रभाव डालता है। जब हम किसी read more को करुणा से बातें करते हैं, तो उनके आत्मा में भी एक नया जीवन जगमगाता है। यह प्रेरणा हमें और जीवंत बनाती है।

नम्रता, दयालुता, विनम्रता , जाल में फंसाना

एक नाजुक और सुंदर मछली की तरह नम्रता, जब किसी जाल में फंस जाती है तो उसे अपनी छवि से दूर कर देती है। आत्मा को सच्ची विनम्रता ही प्रकाश देता है लेकिन जब यह जाल में फँस जाती है, तब वह एक काल्पनिक छाया बन जाती है।

यह जाल हमारे भूले हुए रिश्ते से बना होता है जो हमें नम्रता की चुप्पी में झूलते हैं। हम खुद को जीवन के तल में खो देते हैं और नम्रता का सच्चा अर्थ हमें भूला हो जाता है।

सच्चा हृदय, धोखे का शिकार पीड़ा

ज़िंदगी में हर किसी को फुसलाया जाता है कि सच्चाई सर्वश्रेष्ठ होती है। लेकिन क्या यह हमेशा सच रहता है? कभी लोग सच्चे दिल से जीते हैं, उनका हृदय शुद्ध होता है और वो दूसरों के साथ सम्मान से व्यवहार करते हैं। लेकिन दुर्भाग्यवश, ये सच्चे लोग चाय धोखे का शिकार होते हैं।

  • बहुत ही लोग झूठ बोलकर और दोस्ती का मजा लेकर सच्चे लोगों को नुकसान पहुंचाते हैं।
  • सच्चा हृदय इन धोखों से {निराश{ हो जाता है। यह उसके विश्वास को घटा देता है और उसे दुःखी करता है।

यह जानना चाहिए कि सच्चाई का साथ हमेशा रहेगा, लेकिन धोखे भी कभी-कभी मिलते हैं। सच्चे लोगों को इन धोखों से निरस्त की आवश्यकता है।

एक दयालुता, एक नुक़सान

किसी भी इंसान की भावना में चालाकी का साथ होना बेहद बुरा होता है. जब कोई व्यक्ति अपनी मनोकामनाओं को पूरा करने के लिए दूसरों पर निरंकुशता स्थापित करता है, तो वह खुद को परिश्रम से दूर ले जाता है. ज्ञान का मार्ग हमेशा सही होता है और दयालुता भी बहुत जरूरी है लेकिन इसका अर्थ यह नहीं होना चाहिए कि हम अपनी मर्यादाओं को भूल जाएँ.

भोलेपन का कीमत

जीवन में हर पड़ाव का प्रभाव होता है। बहुतों लोग विश्वास के साथ चलते हैं और सीख को महत्व नहीं देते । ये इंसान भोलेपन की मूल्य का सामना करते हैं।

उदाहरण में , एक सादा व्यक्ति अगर खुद को बेवकूफ महसूस करता है, तो यह उसके जीवन का एक महत्वपूर्ण पड़ाव बन सकता है। अक्सर, भोलेपन का नुकसान वास्तविक होता है।

इसके कारण, जीवन में हमें सूझबूझ भी रखनी चाहिए और खुद को भोलेपन से बचाना चाहिए।

दोस्ती से दुश्मनी तक

कभी कभी परिवार भी खुद का अंत कर देता है। ऐसे ही हमेशा ध्यान रखें की कि आप दूसरे के साथ ईमानदारी से पेश आएं। अगर आप भावनाओं को साफ़ी से बताते हैं तो कभी भी अनबान्ध से बैर तक का रास्ता नुकसान पहुंचाना शुरू हो सकता।

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